लेखनी प्रतियोगिता -09-Dec-2022 "आकाश में टूटते तारों "

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    "टूटते हुए तारें ओ गगन भरे तारों  सुना है...... तुम्हारे टूटने से. पूर्ण होती है कामनाएं  तो सुनो....  आज बैठी छत की मुंडेर पर और ताकती.....  आकाश में भरे ...

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